अखिलेश से मिले संजय सिंह: सपा और आरएलडी के गठबंधन में AAP भी होगा शामिल? अटकलें तेज

 


आप नेता सांसद संजय सिंह ने बुधवार को सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव से मुलाकात की। दोनों ही पार्टियों के बीच गठबंधन को लेकर कयास लगाए जा रहे हैं। संजय सिंह ने कहा कि अखिलेश यादव से सकारात्मक चर्चा हुई।आम आदमी पार्टी के नेता व सांसद संजय सिंह और सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव के बीच लखनऊ के लोहिया ट्रस्ट में करीब 30 मिनट बैठक हुई। दोनों के बीच सियासी हालात और गठबंधन को लेकर चर्चा हुई। हालांकि अभी सीटों के बंटवारे पर तस्वीर साफ नहीं हो पाई है।

बैठक के बाद बाहर निकले आप सांसद संजय सिंह ने कहा कि यह पूरी तरह से व्यक्तिगत मुलाकात थी। भाजपा शासन में कानून व्यवस्था पूरी तरह से चौपट है। इसका मुंहतोड़ जवाब दिया जाएगा। अखिलेश यादव से मिलकर भाजपा से निपटने की रणनीति पर चर्चा की गई है। अभी सपा से मिलकर चुनाव लड़ने के मुद्दे पर बात नहीं हुई है।

सूत्रों का कहना है कि दोनों नेताओं के बीच विधानसभा चुनाव गठबंधन को लेकर चर्चा हुई है लेकिन अभी तक सीट तय नहीं हो पाई है। सपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता राजेंद्र चौधरी ने कहा कि दोनों नेताओं के बीच हुई मुलाकात को अभी गठबंधन से जोड़कर नहीं देखा जाना चाहिए।दूसरी तरफ, सपा का राष्ट्रीय लोक दल के गठबंधन लगभग तय हो गया है। अखिलेश यादव और रालोद प्रमुख चौधरी जयंत सिंह की मंगलवार को घंटों बात हुई। हालांकि दोनों ने सीटों के बंटवारे पर पत्ते तो नहीं खोले पर चर्चा यह है कि 36 सीटों पर मंथन हुआ है। इनमें तीस रालोद केहिस्से में आ रही हैं जबकि छह सीटों पर रालोद और सपा के कार्यकर्ता सिंबल बदलकर चुनाव लड़ सकते हैं। हालांकि कुछ सीटों पर अभी पेंच फंसने की बात भी कही जा रही है।

 


उप्र विधानसभा चुनाव 2022 में सपा और रालोद का गठबंधन तो हो चुका है पर सीटों के बंटवारे को लेकर महीनों से मशक्कत चल रही है। पश्चिमी उप्र में रालोद अपना तगड़ा दावा पेश कर रहा है। उधर, सपा मुखिया पश्चिमी उप्र में एक तरफा सारी सीटें रालोद को देने केमूड में नहीं हैं। मसलन मुजफ्फरनगर, शामली, सहारनपुर, मेरठ, बुलंदशहर, बिजनौर, मथुरा आदि जिलों में सपा अपने भी ज्यादा से ज्यादा उम्मीदवार लड़ाना चाह रही है।



टिप्पणियाँ
Popular posts
परमपिता परमेश्वर उन्हें अपने चरणों में स्थान दें, उनकी आत्मा को शांति प्रदान करें व समस्त परिजनों व समाज को इस दुख की घड़ी में उनका वियोग सहने की शक्ति प्रदान करें-व्यापारी सुरक्षा फोरम
चित्र
पीपल, बरगद, पाकड़, गूलर और आम ये पांच तरह के पेड़ धार्मिक रूप से बेहद महत्व
चित्र
भारत की स्वतंत्रता प्राप्ति में भी ब्राह्मणों के बलिदान का एक पृथक वर्चस्व रहा है।
चित्र
ब्रिटेन की नई हुकूमत के समक्ष चुनौतियों की भरमार?
चित्र
अहमदाबाद: 17 किलोमीटर लंबी रथ यात्रा, एक लाख साड़ियां और...अमित शाह